प्रमुख वन सचिव ने प्रभावित परिवार को सांत्वना देते हुए मुआवजे की अग्रिम राशि का चेक सौंपा
देहरादून/पौड़ी गढ़वाल। पौड़ी गढ़वाल जनपद में लगातार बढ़ रहे मानव-वन्यजीव संघर्ष को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने उच्चाधिकारियों को प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर आवश्यक कार्रवाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए हैं। सोमवार को प्रमुख सचिव वन आर.के. सुधांशु, गढ़वाल मंडल आयुक्त विनय शंकर पाण्डेय तथा मुख्य वन संरक्षक रंजन कुमार मिश्र ने सोमवार को प्रशासनिक अधिकारियों के साथ तहसील पौड़ी के गजल्ड गाँव का दौरा किया।
अधिकारियों ने गुलदार के हमले में मृत स्वर्गीय राजेन्द्र नौटियाल के परिजनों से भेंट कर गहरी शोक संवेदना व्यक्त की। प्रमुख वन सचिव ने प्रभावित परिवार को सांत्वना देते हुए मुआवजे की अग्रिम राशि का चेक सौंपा। प्रमुख सचिव ने गजल्ड घटना पर जिला प्रशासन एवं वन विभाग की त्वरित कार्रवाई तथा ग्रामीणों के सहयोग की सराहना की। उन्होंने कहा कि सरकारी तंत्र और जनसहभागिता की संयुक्त शक्ति ही हर समस्या का समाधान है।
पौड़ी गढ़वाल जनपद में बढ़ते मानव-वन्यजीव संघर्ष को गंभीरता से लेते हुए मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा उच्चाधिकारियों को क्षेत्र भ्रमण तथा आवश्यक कार्रवाई के निर्देश दिये गये हैं। इसी क्रम में प्रमुख सचिव, वन, श्री आर.के. सुधांशु, आयुक्त गढ़वाल श्री विनय शंकर पाण्डेय एवं… pic.twitter.com/V2vfrKQWIt
— Uttarakhand DIPR (@DIPR_UK) December 8, 2025
अधिकारियों ने घटनास्थल का निरीक्षण कर आदमखोर गुलदार के निस्तारण के लिए की जा रही व्यवस्थाओं का जायज़ा भी लिया। इसके बाद वे सत्यखाल गाँव पहुँचे, जहाँ उन्होंने ग्रामीणों की वन्यजीव संबंधी समस्याएँ सुनीं और शीघ्र समाधान का भरोसा दिया। इस अवसर पर वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक सर्वेश पंवार, मुख्य वन संरक्षक धीरज पांडे, वन संरक्षक आकाश वर्मा, वन क्षेत्राधिकारी गढ़वाल अभिमन्यु सिंह, लैंसडौन के वन क्षेत्राधिकारी जीवन मोहन दगाड़े, कालागढ़ के वन क्षेत्राधिकारी तरुण एस., अपर जिलाधिकारी अनिल गर्ब्याल, सहायक मजिस्ट्रेट दीक्षिता जोशी सहित कई अधिकारी मौजूद रहे।
स्थानीय प्रतिनिधिमंडल ने रखे सुझाव
दौरे के बाद प्रभावित क्षेत्र के प्रतिनिधिमंडल ने विकास भवन में प्रमुख सचिव से मुलाकात कर मानव-वन्यजीव संघर्ष के प्रभावी न्यूनीकरण को कई सुझाव दिए। इनमें क्षेत्र से परिचित स्थानीय ग्रामीणों को निस्तारण दल में शामिल करने, गुलदार को बेहोशी का टीका (ट्रैंक्विलाइज़) करने को दो निजी निशानेबाजों की अनुमति देने,पूर्व-रिकॉर्डेड ऑडियो संदेशों के माध्यम से जनजागरूकता फैलाने की मांग की गई। प्रमुख सचिव ने सभी बिंदुओं पर तत्काल संज्ञान लेते हुए अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश जारी किए।
मानव-वन्यजीव संघर्ष पर विभागों की बैठक
बाद में विकास भवन सभागार में प्रमुख सचिव ने सभी विभागों की संयुक्त बैठक ली। उन्होंने निर्देश दिया कि संघर्ष न्यूनीकरण के लिये हर रेंज स्तर पर नियमित ‘प्रभागीय दिवस’ आयोजित किया जाए। ‘क्या करें, क्या न करें’ आधारित जनजागरूकता सामग्री शीघ्र तैयार कर वितरित की जाए।
रेंज एवं वन पंचायत स्तर पर व्हाट्सऐप समूहों और प्रभागीय स्तर पर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म का उपयोग वन्यजीव गतिविधियों की सूचनाएँ प्रसारित करने में किया जाए। गढ़वाल मंडल आयुक्त ने कहा कि मानव-वन्यजीव संघर्ष अत्यंत संवेदनशील विषय है, तेज़ कार्रवाई के साथ समुदाय का सतत सहयोग बेहद आवश्यक है।
जिलाधिकारी ने दी व्यवस्थाओं की जानकारी
जिलाधिकारी स्वाति एस. भदौरिया ने बताया कि संघर्ष न्यूनीकरण से जुड़े सभी दिशा-निर्देशों का पालन कराया जा रहा है। प्रभावित क्षेत्रों में पशुपालकों के लिए नियमित चारे की व्यवस्था सुनिश्चित करने हेतु पशुपालन विभाग को निर्देशित किया गया है। साथ ही संवेदनशील क्षेत्रों में सुरक्षा को देखते हुए विद्यालयों और आंगनबाड़ी केंद्रों के समय में भी परिवर्तन किया गया है।
